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अपर जिला जज भारतेन्दु प्रकाश गुप्ता द्वारा जिला कारागार का किया गया निरीक्षण
गिरजा शंकर विद्यार्थी
उत्तर प्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, लखनऊ द्वारा प्रेषित प्लान ऑफ एक्शन 2024-25 के अनुपालन में श्री राम सुलीन सिंह, माननीय जनपद न्यायाधीश / अध्यक्ष महोदय, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, अम्बेडकरनगर के निर्देशानुसार आज दिनांक 08.05.2024 को जिला कारागार, अम्बेडकरनगर में, प्ली बारगेनिंग विषय पर श्री भारतेन्दु प्रकाश गुप्ता, अपर जिला जज/सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, अम्बेडकरनगर द्वारा विधिक साक्षरता शिविर एवं का आयोजन एवं निरीक्षण किया गया। इस विधिक साक्षरता शिविर में श्री छोटोलाल सरोज, डिप्टी जेलर, श्री सूर्यभान सरोज, डिप्टी जेलर, जिला कारागार, अम्बेडकरनगर, श्री राजेश कुमार तिवारी, डिप्टी चीफ, लीगल एड डिफेन्स काउन्सिल एवं कारागार के कर्मचारीगण तथा बन्दियों द्वारा प्रतिभाग किया गया।
शिविर को सम्बोधित करते हुये श्री भारतेन्दु प्रकाश गुप्ता, अपर जिला जज/सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, अम्बेडकरनगर ने प्ली बारगेनिंग विषय पर बोलते हुये कहा कि भारतीय संसद ने दण्ड प्रक्रिया संहिता में संशोधन अधिनियम 2/2006 द्वारा एक नया अध्याय 21 (ए) (धारा 265-ए से 265-एल) प्ली बारगेनिंग नामक शीर्षक जोड़कर दांडिक अभियोजन व पीड़ित पक्ष आपसी सामंजस्य से प्रकरण के निपटारे हेतु न्यायालय के अनुमोदन से एक रास्ता निकालते हैं जिसके तहत अभियुक्त द्वारा अपराध स्वीकृत्ति पर उसे हल्के दण्ड से दण्डित किया जाता है जो अन्यथा कठोर हो सकता है। प्ली बारगेनिंग समझौते का एक तरीका है। इसके तहत अभियुक्त कम सजा के बदले में अपने द्वारा किये गये अपराध को स्वीकार करके और पीड़ित व्यक्ति को हुये नुकसान और मुकदमें के दौरान हुये खर्चे की क्षतिपूर्ति करके कठोर सजा से बच सकता है। प्ली बारगेनिंग केवल उन अपराधों पर लागू होता है जिनके लिये कानून में सात वर्ष तक सजा का प्राविधान है। यदि अभियुक्त उसी अपराध में पूर्व में सिद्धदोष हुआ हो तो वह प्ली बारगेनिंग के लिये अयोग्य होगा। आवेदन प्राप्त होने के पश्चात न्यायालय लोक अभियोजक पीड़ित एवं अनुसंधानकर्ता अधिकारी को न्यायालय में उपस्थित रहने के लिये नोटिस जारी करेगा। न्यायालय उक्त पक्षों को आपसी संतोषजनक हल निकालने के लिये समय देगा।
इसके अतिरिक्त राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं उ०प्र० राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण लखनऊ के निर्देशानुसार एवं श्री राम सुलीन सिंह, माननीय जनपद न्यायाधीश / अध्यक्ष महोदय, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, अम्बेडकरनगर के आदेशानुसार माह जुलाई में 13.07.2024 दिन शनिवार को जनपद न्यायालय अम्बेडकरनगर में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया जाना है। उ०प्र० राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, लखनऊ के निर्देशानुसार आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत में लघु प्रकृति के फौजदारी बाद, एन०आई० एक्ट की धारा 138, भारतीय उत्तराधिकार अधिनियम, वैवाहिक / पारिवारिक वाद, दीवानी वाद, मोटर दुर्घटना एवं प्रतिकर वाद, विद्युत अधिनियम से संबन्धित वाद, श्रम वाद एवं भूमि अध्याप्ति याद राजस्व वाद, ऋण वाद आदि सहित अन्य प्रकार के वादों का आपसी सुलह-समझौते के आधार पर अधिक से अधिक निस्तारण किया जाना है।
श्री भारतेन्दु प्रकाश गुप्ता, अपर जिला जज / सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, अम्बेकरनगर द्वारा बताया गया कि माननीय उत्च्च न्यायालय, इलाहाबाद द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के कम में आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत दिनांकित 13.07.2024 में पारिवारिक प्री-लिटिगेशन मामलों को सुलह समझौता के माध्यम से निपटा सकते हैं एवं कोई भी व्यक्ति अपने पारिवारिक विवाद को पंजीकृत होने से पूर्व प्रार्थना पत्र के माध्यम से जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में भेजकर सुलह समझौता द्वारा अपने पारिवारिक विवाद को प्री-लिटिगेशन स्तर पर खत्म कर सकते हैं और अपने धन और समय की बचत कर सकते हैं।
त्वरित सस्ता, सुलम न्याय प्रत्येक नागरिक का अधिकार है आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत में तहसील स्तर से लेकर सर्वोच्च न्यायालय स्तर तक के किसी भी न्यायालय या विभागीय ऐसे मामले जो सुलह-समझौता के आधार पर निस्तारित किये जा सकते हैं, के लिये आवेदन पत्र देकर वादकारी अंतिम आदेश और निर्णय प्राप्त कर कर सदैव के लिये लम्बित मामलों से छुटकारा पा सकते हैं लोक अदालत में किसी भी वाद के निस्तारण के लिये किसी प्रकार का शुल्क नहीं देना पड़ता एवं पक्षों के मध्य आपसी सुलह समझौता के आधार पर विवाद का निस्तारण किया जा सकता है।
जनपद के सभी आमजन को सूचित किया जाता है कि आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत में अपने अधिक से अधिक संख्या में वाद सुलह समझौता के माध्यम से नियत कर निस्तारित करवायें एवं राष्ट्रीय लोक अदालत दिनांक 13.07.2024 का लाभ उठायें।